भगवान बलराम का आविर्भाव दिवस - आज भगवान बलराम के आविर्भाव का सबसे शुभ दिवस है।

आदित्य!
28 Aug 2018
भगवान बलराम का आविर्भाव दिवस - आज भगवान बलराम के आविर्भाव का सबसे शुभ दिवस है।
भगवान नित्यानंद [बलराम] मूल गुरु हैं। जब कृष्ण और बलराम जंगल से घूमते हैं, कृष्ण के पास बांसुरी होती है, जो मधुर ध्वनि के रस को दर्शाती हैं जो सभी जीवों के हृदय को आकर्षित करती है। बलराम जी हल रखते है, जिसका अर्थ है कि वह किसान है। वह क्या करते हैं? वह जीवों के हृदय में उपस्थित अनर्थों के उपर हल चलाते हैं, जो उनकी भक्तिलता को बाधित या परेशान कर रहे हैं।
आप जानते हैं कि क्या होता है जब बलराम तालावान वन में प्रवेश करते है?
वे जीवात्मा की गधे जैसी बोझ ढोनेवाली मानसिकता का प्रतिनिधित्व करते हैं, जो पाप का भारी बोझ लिए हैं, कर्म और ज्ञान का भारी बोझ, सांसारिक ज्ञान और सांसारिक महत्वाकांक्षा, और अज्ञानता को भूलने का अभाव। कितना भारी बोझ! यह हमें कमज़ोर करता है ताकि हम सेवा के बारे में उत्साहित न हों। तो जब बलराम तालवान के उस जंगल में प्रवेश करते हैं, तो वह उन सभी गधे को दूर भगा देते हैं। यह उनका कार्य है। यह गुरु का कार्य है: हमारे हृदय को शुद्ध करने में उन सभी अपराधों और अनर्थों को दूर करते हैं जो कृष्ण के लिए हमारे प्रेम के प्रवाह को बाधित करते हैं।
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